जम्मू-कश्मीर में 22 अप्रैल को हुए पहलगाम आतंकी हमले के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव बढ़ा हुआ है। भारत के सख्त रुख से घबराए पाकिस्तान ने शुक्रवार को कहा कि यदि तनाव और बढ़ता है तो उसे संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (UNSC) की बैठक बुलाने का पूरा अधिकार है। यह बात संयुक्त राष्ट्र में पाकिस्तान के स्थायी प्रतिनिधि राजदूत असीम इफ्तिखार अहमद ने की।
अहमद ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि यह सब कुछ जम्मू-कश्मीर की स्थिति की पृष्ठभूमि में हो रहा है। अहमद पत्रकारों के इस सवाल का जवाब दे रहे थे कि क्या पाकिस्तान पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद भारत-पाकिस्तान तनाव के मद्देनजर यूएनएसएसी की बैठक बुलाने की योजना बना रहा है। इस हमले में 26 लोग मारे गए थे। पाकिस्तान वर्तमान में UNSC का अस्थायी सदस्य है और जुलाई में 15 देशों के संयुक्त राष्ट्र निकाय की अध्यक्षता करेगा।
भारत-पाकिस्तान तनाव क्षेत्रीय और अंतरराष्ट्रीय शांति एवं सुरक्षा के लिए खतरा: अहमद
अहमद ने कहा कि पहलगाम में हमला हुआ था, लेकिन अब जो हालात बन रहे हैं, वे सिर्फ भारत पाकिस्तान के लिए नहीं, बल्कि क्षेत्रीय और अंतरराष्ट्रीय शांति एवं सुरक्षा के लिए खतरा हैं। अहमद ने आगे कहा कि सुरक्षा परिषद को इसमें दखल देने का पूरा अधिकार है। साथ की पाकिस्तान सहित परिषद के किसी भी सदस्य के लिए यह पूरी तरह से उचित होगा कि वह सुरक्षा परिषद की बैठक बुलाए और चर्चा का अपील करे, ताकि इस गंभीर स्थिति पर विचार किया जा सके।
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हम स्थिति पर बारीकी से नजर रख रहे: अहमद
अहमद ने आगे कहा कि पाकिस्तान ने इस मुद्दे पर परिषद के सदस्यों के साथ चर्चा की है। हमने पिछले और फिल्हाल के अध्यक्ष के साथ भी चर्चा की है। हम स्थिति पर बारीकी से नजर रख रहे हैं। जरूरत पड़ी तो हमें यूएनएससी की बैठक बुलाने का अधिकार है। इस दौरान राजदूत अहमद पाकिस्तानी रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ की टिप्पणी के सवाल पर जवाब देने से बचते नजर आए, जिन्होंने एक साक्षात्कार में कहा था कि पाकिस्तान पश्चिम के लिए गंदा काम कर रहा है।
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