Inspection of fertilizer distribution system | खाद वितरण व्यवस्था की जांच: डीएम-एसपी ने तीन केंद्रों का किया निरीक्षण, टोकन सिस्टम लागू करने के निर्देश – Lakhimpur-Kheri News


गोपाल गिरि | लखीमपुर-खीरीकुछ ही क्षण पहले

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डीएम ने खाद वितरण केंद्र का निरीक्षण किया। - Dainik Bhaskar

डीएम ने खाद वितरण केंद्र का निरीक्षण किया।

लखीमपुर खीरी में डीएम दुर्गा शक्ति नागपाल और एसपी संकल्प शर्मा ने शुक्रवार को खाद वितरण व्यवस्था का जायजा लिया। उन्होंने तीन वितरण केंद्रों का औचक निरीक्षण किया। इस दौरान एडीएम नरेंद्र बहादुर सिंह, एआरसीएस रजनीश प्रताप सिंह और अन्य विभागीय अधिकारी भी मौजूद थे।

अधिकारियों ने सबसे पहले ओयल क्षेत्र की बहुउद्देशीय प्राथमिक ग्रामीण सहकारी समिति पुरवा सावल का निरीक्षण किया। डीएम ने यहां उर्वरक वितरण प्रक्रिया की जानकारी ली और समिति सचिव को निर्देश दिए। उन्होंने खाद के स्टॉक और अभिलेखों की जांच की। किसानों से बातचीत कर वितरण की स्थिति का पता लगाया।

भुलनपुर स्थित बी पैक्स समिति के निरीक्षण के दौरान एसडीएम मितौली रेनू मिश्रा पहले से मौजूद थीं। डीएम-एसपी ने खाद भंडारण, वितरण प्रणाली और अभिलेखों की जांच की। राजापुर मंडी स्थित इफको किसान सेवा केंद्र पर जिला प्रबंधक अरविंद कुमार ने बताया कि 222 पुरुष और 39 महिला किसानों को टोकन दिए जा चुके हैं।

डीएम ने खाद वितरण केंद्र का निरीक्षण किया।

डीएम ने खाद वितरण केंद्र का निरीक्षण किया।

डीएम ने खाद वितरण केंद्र का निरीक्षण किया।

डीएम ने खाद वितरण केंद्र का निरीक्षण किया।

किसानों को मिले खाद डीएम ने सभी केंद्रों पर पारदर्शी टोकन प्रणाली लागू करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि किसानों को निर्धारित मात्रा में खाद मिलनी चाहिए। साथ ही हर केंद्र पर क्षेत्र की निजी खाद दुकानों की सूची प्रदर्शित करने को कहा। लेखपालों को सभी अधिकृत विक्रय केंद्रों के समय पर खुलने और सरकारी दरों पर खाद वितरण की जिम्मेदारी दी गई। एसपी संकल्प शर्मा ने वितरण केंद्रों पर तैनात पुलिस कर्मियों को कानून-व्यवस्था बनाए रखने और किसानों की सुविधा का ध्यान रखने के निर्देश दिए।

डीएम के निर्देश पर एसडीएम का एक्शन मोड डीएम दुर्गा शक्ति नागपाल के निर्देश पर जिले के सभी एसडीएम ने अपने-अपने क्षेत्रों में स्थित सहकारी समितियों और निजी उर्वरक विक्रय केंद्रों का औचक निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान उर्वरक के स्टॉक, वितरण प्रक्रिया और अभिलेखों की बारीकी से समीक्षा की गई। प्रत्येक केंद्र पर लेखपालों की मौजूदगी सुनिश्चित कराई गई थी, जो मौके पर व्यवस्था बनाए रखने में मुस्तैद दिखे। किसानों को समय से खाद उपलब्ध कराने और पारदर्शी वितरण सुनिश्चित करने पर विशेष जोर दिया गया।



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